भूत – भविष्य में जिंदगी बीत न जाये..
आपके पास बस आज का दिन है, बस आज का…
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“हमें भूत के बारे में पछतावा नहीं करना चाहिए, ना ही भविष्य के बारे में चिंतित होना चाहिए, विवेकवान व्यक्ति हमेशा वर्तमान में जीते हैं।“ -चाणक्य
आस्लर ने कहा है:-
“हमारे भविष्य का निर्माण आज हो रहा है, कल की घटनाओं पर पछताने से कोई लाभ नहीं, न ही आपको भविष्य की घटनाओं की अधिक चिंता करनी चाहिए। भूत और भविष्य के द्वार बंद कर दीजिए, अपना कार्य वर्तमान में कीजिये। खुद पर यकीन करके पुरे साहस और विश्वास के साथ कार्यक्षेत्र में उतरिये और इसी क्षण कार्य कर डालिए। आज का कार्य भली-भांति संपन्न करने के अतिरिक्त बाकि समस्त महत्वाकांक्षाओं को त्याग दीजिए। सफलता के मार्ग पर चलने वाले लोग वर्तमान में जीते हैं, वे कल की नही सोचते। न तो भूत में रहिये और न भविष्य में, सारी शक्ति आज के कार्य में लगा दीजिए। इस प्रकार आप अपनी सारी महत्वाकांक्षाएं पूरी कर लीजिए।“ मित्रों इन बातों में कितनी सच्चाई छिपी है, बुद्धिमान लोग अतीत की घटनाओं पर नही पछताते, वे कभी भविष्य की चिंता नहीं करते, वे तो सिर्फ वर्तमान में जीते हैं और अपना कर्म पुरे साहस और ईमानदारी-पूर्वक करते हैं। जब कोई व्यक्ति अपनी अपार क्षमता के प्रति सजग हो जाता है और समझ जाता है कि वह स्वयं ही अपने भाग्य के निर्माता है, तो वह जीवन में वैसे ही उठने का प्रयास करता है, जैसे- धरती पर गिरा हुआ मनुष्य उठने के लिए धरती का ही सहारा लेता है।
क्या आपने आज-तक ऐसे किसी आदमी को देखा है जिसने बिना मेहनत किये सफलता की गाथाएं लिखी हों, बात साफ़ है कि बिना मेहनत किये हम फल का इंतजार कभी नहीं कर सकते, हमें यदि आगे बढ़ना है तो उसके लिए मेहनत करनी ही पड़ेगी।
और जब हमे मेहनत करनी ही है, तो आपको नहीं लगता कि आज ही हमें उठना चाहिए, जागना चाहिए और भूत-भविष्य की बिना चिंता किये बगैर आज के काम को बेहतर बनाने के लिए आगे आना चाहिए..
दोस्तों अपनी पूरी शक्ति वर्तमान में लगाने का अर्थ यह नहीं कि आप अपनी भूतकाल की गलतियों से कुछ न सीख रहे हों और इसका मतलब यह भी नहीं कि आपने अपने भविष्य के लिए योजनाएं न बनाई हों। भूतकाल की गलतियों को बार-बार दोहराना ही हार के नजदीक पहुचने का सबसे अच्छा और आसान तरीका है, इसका उल्टा भी उतना ही सही है, कि भूतकाल की गलतियों से सीख लेना ही जीत के नजदीक पहुचने का सबसे अच्छा और आसान तरीका है।
जिंदगी की गाड़ी चल तो रही है पर इस बात की कोई गारंटी नही कि इसका पेट्रोल कब खतम हो जाये। भविष्य की चिंता करने और भविष्य के लिए योजना बनाने में बहुत फर्क है- भविष्य की चिंता आपके वर्तमान और भविष्य दोनों को बर्बाद कर देती है, लेकिन योजना से वर्तमान और भविष्य दोनों संवर जाते हैं। भविष्य की बनाई योजना के अनुरूप जब आप कार्य करते हैं, उससे न सिर्फ आपका वर्तमान चमकता है, साथ ही आपका भविष्य भी सुनहरा होता है। लेकिन भविष्य की चिंताओं से आपके वर्तमान के कार्य की गति धीमी हो जाती है अथवा रुक जाती है, जिससे वर्तमान और भविष्य में हमारे लिए सिर्फ निराशा और असफलता हाथ आती है।
यदि आप अपना कार्य वर्तमान में करना सीख लें, तो आपको किसी भी बात से डरने की कोई जरूरत नही। जो व्यक्ति अपना कार्य ठीक समय पर पूरी निष्ठा और लगन के साथ करते हैं उनके भीतर आत्मविश्वास की ज्योति जलने लगती है, अच्छे व्यक्तित्त्व का विकास होने लगता है। बात सीधी और सच्ची है, कुछ लोगों के लिए वर्तमान में जीने का मतलब सिर्फ अतीत की घटनाओं की जुगाली करने और भविष्य के लिए बस मीठे-मीठे सपने देखने से रहता है लेकिन बुद्धिमान लोग वर्तमान की घटनाओं को बखूबी समझते हैं और उन्हें पता होता है कि ‘जो करना है आज और अभी करना है।‘ इसलिए हमारे पास सबसे आसान तरीका यही है कि हमें अतीत से ज्यादा से ज्यादा सीखना होगा और निरंतर अपने लक्ष्य की प्राप्ति के लिए इसी वर्तमान में पुरे उत्साह के साथ कार्य करना होगा।
धन्यवाद!
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